आज की अपनी इस कक्षा में हम English 202 का chapter – 3 kondiba a hero करने वाले हम आपको इस पाठ की हिन्दी summary बताएंगे साथ ही आपको इस पाठ से संबंधित import ant Question answer भी बताएंगे इसलिए आपको शुरु से लेकर अंत तक इस post में बने रहना है। तभी आपको सारी चीज़े समझ आएगी ।
और इससे related कोई भी doubt हो तो आप नीचे comment boxमें पूछ सकते है। या फिर आप हमारी whatsapp helpline से भी जुड़ सकते है।
इस पाठ को मुख्यत हम 6 points में cover करने वाले है l Point 1– यह कहानी Kondiba नाम के एक अंधे लड़के की है। 8 साल की उम्र में उसे small pox नामक बीमारी हो गई थी जिससे उसकी आंखो की रोशनी चली गईं थी। वह भीख मांगने का काम करता था ।
उसे भीख मांगना पसंद नही था पर 1972 – 73 के अकाल ( famine ) में वह औरंगाबाद को छोड़कर मुंबई आ गया । सबसे पहले उसने भीख मांगने का काम शुरु किया । पर इसमें उसकी किस्मत ने उसका साथ नहीं दिया फिर उसे पता चला की मुंबई भिखारियों के प्रति बहुत दयालु है। फिर उसने भीख मांगने का काम शुरु किया ।
point 2 – मुंबई में वह Ghatkopar नामक स्थान के golibar नाम की एक slum colony में Tukaram और उसकी पत्नी Yelanbai के साथ रहता था उसके रहता था । उसी colony में एक पुराना , कीचड़ से भरा हुआ गहरा और खतरनाक कुआं था।
Point 3– एक दिन kondiba रोज की तरह भीख मांग कर 5-6 लेकर घर आता है। और खाना खाने के लिऐ बैठ जाता है। तभी बाहर से चिल्लाने की आवाज आती है। की कोई कुएं मे गिर गया है यह सुनकर kindiba खाना छोड़कर कुएं की तरफ भागता है।
Important questions
Q1 why was kondiba called hero ?
Ans. Kondiba gaikward was a blind person but he save lives of a boy his picture and Story published In national news paper and also Show on national news channels He rewarded by cheif minister and government of maharsahtra hi popular in whole country every one called him hero to this
Q.2 what did kondiba miss and why ?
Ans when kondiba jumped into well . Kondiba missed his vision so much. If only he could see, he might be able to find the drowning boy. He did not know that even normal eyes would never have been able to see in muddy water.
Q.3 How did kondiba become blind and come auranga bad to mumbai
Ans . Kondiba had become an blind at the age of eight by the desease of small pox In maharsahtra famine ( 1972- 73 ) kondiba gaikward come to aurangabad to mumbai for search the bread
Q.4 how was the kondiba rewarded and why ?
Ans. He rewarded by governer and cheif minister of maharsahtra by many official bravery rewards and he also rewarded by the price 12,970 rupees
1 Comment.